MP में ई-कार पर 25 हजार और दो पहिया ईवी की खरीद में पांच हजार रुपये की मिलेगी डिस्काउंट

भोपाल
 मध्य प्रदेश की इलेक्ट्रिक वाहन नीति-2025 के तहत अब प्रदेश में इलेक्ट्रिक वाहन पंजीकरण पर 100 प्रतिशत छूट दी जाएगी। दो पहिया, तीन पहिया और कार के लिए एक वर्ष तक रोड टैक्स फ्री रहेगा। दो पहिया वाहनों पर पांच हजार, तीन पहिया पर 10 हजार और ई कार पर 25 हजार रुपये की छूट वाहन कर और पंजीयन शुल्क में एक वर्ष के लिए मिलेगी।

बस, स्कूल बस को रोड टैक्स, पंजीयन और परमिट में दो साल तक छूट दी जाएगी, ट्रक, ट्रैक्टर और एम्बुलेंस को केवल वाहन कर और पंजीयन में छूट मिलेगी। चार्जिंग स्टेशन पर 30 प्रतिशत सब्सिडी दी जाएगी।

केपिटल सब्सिडी नहीं मिलेगी

इनमें छोटे, मध्यम और बड़े चार्जिंग स्टेशन में 30 प्रतिशत अनुदान और बैटरी स्वैपिंग स्टेशन के उपकरणों की लागत पर यह सब्सिडी मिलेगी। पहले नीति में केपिटल सब्सिडी देने की तैयारी थी, लेकिन वित्त विभाग की असहमति के बाद किसी भी वाहन पर केपिटल सब्सिडी नहीं मिलेगी।

80 प्रतिशत सरकारी वाहन इलेक्ट्रिक किए जाएंगे

पांच साल की अवधि की इस नीति में 80 प्रतिशत सरकारी वाहन इलेक्ट्रिक किए जाएंगे। इलेक्ट्रिक वाहनों की खरीदी पर प्रोत्साहन राशि मिलेगी। मध्य प्रदेश में पंजीकृत सभी ईवी को ग्रीन नंबर प्लेट जारी की जाएगी। व्यक्तिगत उपयोग वाले ईवी को सफेद अक्षरों वाली एवं व्यावसायिक उपयोग वाले ईवी को पीले अक्षरों वाली ग्रीन नंबर प्लेट जारी की जाएगी। सार्वजनिक स्थलों पर चार्जिंग स्टेशनों के लिए वित्तीय सहायता दी जाएगी।

सभी पंपों पर लगेंगे इलेक्ट्रिक चार्जिंग प्वाइंट

राजमार्गों, प्रमुख सड़कों पर प्रत्येक 20 किलोमीटर पर एक चार्जिंग स्टेशन, राजमार्गों पर प्रत्येक 100 किलोमीटर पर लंबी दूरी/ हेवी-ड्यूटी इलेक्ट्रिक वाहन के लिए फास्ट चार्जिंग स्टेशन (दोनों तरफ) लगाए जाएंगे। प्रत्येक एक किमी बाई, एक किमी ग्रिड में कम से कम एक चार्जिंग स्टेशन होगा। नीति अवधि के अंत तक सभी पेट्रोल पंपों पर कम से कम एक इलेक्ट्रिक चार्जिंग प्वाइंट लगाया जाएगा।

ये बनेंगे इलेक्ट्रिक व्हीकल शहर

मध्य प्रदेश ईवी प्रमोशन बोर्ड का गठन होगा। भोपाल, इंदौर, जबलपुर, ग्वालियर और उज्जैन शहरों को मॉडल इलेक्ट्रिक व्हीकल शहर बनाया जाएगा। पर्यटक, गांव, धार्मिक और पुरातात्विक महत्व के स्थान, प्रौद्योगिकी केंद्र, विशेष आर्थिक क्षेत्र, व्यावसायिक क्षेत्र में ई-मोबिलिटी जोन बनाए जाएंगे। इलेक्ट्रिक वाहनों के स्टार्टअप के लिए इन्क्यूबेशन केंद्रों की संख्या में वृद्धि की जाएगी।

मप्र नागर विमानन नीति : 15 किमी पर एक एयरपोर्ट, 45 किमी पर एक हेलीपैड बनेगा

75 किमी पर एक हवाई पट्टी, 150 किमी के दायरे में एक हवाई अड्डा, प्रत्येक तहसील स्तर पर 45 किमी पर एक हेलीपैड।

पर्यटन एवं धार्मिक पर्यटन महत्व के स्थलों को वर्ष 2030 तक किफायती दामों में हवाई संपर्क से जोड़ा जाएगा।

एयरो स्पोर्ट्स प्रशिक्षण संस्थान की स्थापना के लिए पूंजीगत व्यय पर निजी निवेशकों को अनुदान।

एयर कार्गो सुविधाएं विकसित कर राज्य में मछली एवं फल, फूल जैसे कृषि उत्पादों के निर्यात को प्रोत्साहित।

रात्रि पार्किंग करने वाले एयरक्राफट पर एटीएफ पर वेट एक प्रतिशत की दर से प्रभावी होगा।

कैपेसिटी बिल्डिंग, कौशल विकास, उड़ान प्रशिक्षण संस्थाओं की स्थापना के लिए पूंजीगत निवेश राशि की 40 प्रतिशत तक निवेश प्रोत्साहन सहायता।

इंदौर-देवास-उज्जैन क्षेत्र में अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे बनाया जाएगा।

कृषि उत्पादन क्षेत्रों में ‘कृषि उड़ान कलस्टर’ बनेंगे।

लेक व्यू अशोक को पीपीपी पर ब्रांड होटल बनाया जाएगा

भोपाल की लेक व्यू अशोक होटल को पीपीपी पर ब्रांड होटल बनाने के लिए 60 वर्षों की लीज पर दिया जाएगा। इसमें 1000 सीट का हाल बनाया जाएगा। होटल के साथ यहां प्रदेश की कला भी देखने को मिलेगी।

लीज अवधि को आपसी सहमति से समान शर्तों पर 10 वर्षों के लिए एक बार बढ़ाया जा सकेगा। 7.16 एकड़ में फैली इस होटल की लीज अवधि में वर्ष 2042 से 60 वर्ष अर्थात वर्ष 2102 तक एकमुश्त वृद्धि करने एवं उक्त लीज को निजी निवेशक के पक्ष में एमपीएसटीडीसी/ एमपीएचसीएल द्वारा सबलीज (उपपट्टा) दिए जाने का अनुमोदन प्रदान किया गया है।

 

India Edge News Desk

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