डिजिटल पेमेंट हमारी जिंदगी का अहम हिस्सा, अब नहीं होगी UPI से ठगी, सरकार ने लॉन्च किया नया सिक्योरिटी सिस्टम

नई दिल्ली
आज के समय में डिजिटल पेमेंट हमारी जिंदगी का अहम हिस्सा बन चुका है। Paytm, Google Pay, PhonePe जैसे UPI ऐप्स के जरिए हम रोजाना कई लेनदेन करते हैं। लेकिन जैसे-जैसे डिजिटल ट्रांजेक्शन बढ़ रहे हैं, वैसे-वैसे ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामले भी तेजी से सामने आ रहे हैं। इसी खतरे को देखते हुए सरकार ने एक बड़ा कदम उठाया है, जिससे डिजिटल पेमेंट सिस्टम और ज्यादा सिक्योर हो सकेगा।

सरकार की नई पहल
भारत सरकार के दूरसंचार विभाग (DoT) ने Financial Fraud Risk Indicator (FRI) नाम से एक नया सिक्योरिटी सिस्टम लॉन्च किया है। इसका मकसद है – ऑनलाइन फ्रॉड की घटनाओं पर समय रहते रोक लगाना। इस सिस्टम की मदद से ऐसे मोबाइल नंबरों की पहचान की जाएगी जो किसी साइबर अपराध या धोखाधड़ी में शामिल हो सकते हैं।

कैसे काम करता है FRI सिस्टम?
FRI एक डिजिटल निगरानी प्रणाली है जो रियल टाइम में संदिग्ध मोबाइल नंबरों की पहचान करता है। जैसे ही कोई ऐसा नंबर बैंकिंग या UPI लेनदेन में शामिल होता है जो पहले से धोखाधड़ी में लिप्त हो सकता है, तो यह सिस्टम उस नंबर को तुरंत फ्लैग कर देता है। इसके बाद संबंधित बैंक या डिजिटल पेमेंट ऐप को अलर्ट भेज दिया जाता है ताकि उस नंबर से आगे किसी तरह का फ्रॉड न हो पाए।

बैंक और UPI ऐप्स को मिलेगा सीधा फायदा
इस नए सिस्टम का फायदा सिर्फ बैंकों तक सीमित नहीं है। Paytm, PhonePe, Google Pay और BHIM जैसे नॉन-बैंकिंग UPI ऐप्स को भी इससे मदद मिलेगी। ये ऐप्स अब उन मोबाइल नंबरों को पहले ही पहचान पाएंगे जो फ्रॉड में शामिल हो सकते हैं, जिससे लाखों यूजर्स सुरक्षित रहेंगे।

FRI किन नंबरों को फ्लैग करेगा?
FRI सिस्टम खासतौर पर उन मोबाइल नंबरों पर नजर रखेगा जिनमें निम्नलिखित गतिविधियां होंगी:

जिन नंबरों का KYC पूरा नहीं हुआ है
जो पहले से किसी धोखाधड़ी या फ्रॉड में इस्तेमाल हो चुके हैं
जिन पर बार-बार नियमों का उल्लंघन हो रहा है
जिन नंबरों से फर्जी कॉल या लिंक भेजे जा रहे हैं

ऐसे नंबरों को पहचानकर या तो सतर्क किया जाएगा या जरूरत पड़ने पर ब्लॉक कर दिया जाएगा।

FRI सिस्टम क्यों है जरूरी?
पिछले कुछ वर्षों में UPI के जरिए फ्रॉड के मामलों में बेतहाशा बढ़ोतरी हुई है। कहीं किसी बुजुर्ग से OTP पूछकर पैसे उड़ा लिए जाते हैं, तो कहीं किसी फेक लिंक पर क्लिक कर यूजर्स का खाता खाली कर दिया जाता है। FRI जैसी प्रणाली की मदद से अब ऐसे मामलों में पहले से सतर्कता बरती जा सकेगी, जिससे धोखाधड़ी के मामलों में कमी आएगी।

यूजर्स के लिए जरूरी सलाह
सरकार ने यह तो सुनिश्चित किया है कि सिस्टम लेवल पर सुरक्षा मजबूत की जाए, लेकिन आपकी सतर्कता भी उतनी ही जरूरी है। नीचे दिए गए सुझावों को अपनाकर आप भी सुरक्षित रह सकते हैं:

    हमेशा अपने मोबाइल नंबर और UPI ऐप्स को वेरिफाई करें
    अनजान नंबरों से आए कॉल या SMS पर यकीन न करें
    किसी भी लिंक पर क्लिक करने से पहले सोचें और जांचें
    कोई भी संदिग्ध लेनदेन दिखे तो तुरंत अपने बैंक या ऐप कस्टमर केयर से संपर्क करें
    ऐप्स को हमेशा अपडेटेड वर्जन में रखें
    फर्जी ऑफर्स और इनाम जैसी बातों से सावधान रहें

DoT की यह पहल डिजिटल इंडिया को एक सुरक्षित इकोसिस्टम की ओर ले जा रही है। इससे जहां आम लोगों का भरोसा डिजिटल लेनदेन पर बढ़ेगा, वहीं धोखेबाजों की गतिविधियों पर भी लगाम लगेगी। अगर आप भी UPI ऐप्स का इस्तेमाल करते हैं, तो यह जरूरी है कि आप खुद भी जागरूक और सतर्क रहें।

 

India Edge News Desk

Follow the latest breaking news and developments from Chhattisgarh , Madhya Pradesh , India and around the world with India Edge News newsdesk. From politics and policies to the economy and the environment, from local issues to national events and global affairs, we've got you covered.

Related Articles

Back to top button