Indian Railway News: बिना पायलट के ट्रेन चलने का मामला.. रेलवे कर्मचारियों को सस्पेंड
कठुआ में दो दिन पहले एक मालगाड़ी बिना लोको पायलट के करीब 100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ने लगी,जो चौंकाने वाली है. बिना पायलट के लोको पायलट चाय पीने के लिए नीचे आया था |
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इंदौर, Indian Railway News: कठुआ में दो दिन पहले एक मालगाड़ी बिना लोको पायलट के करीब 100 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से दौड़ने लगी. रेलवे ने इस मामले में जांच के आदेश दिए थे, लेकिन अब इस जांच से जुड़ी शुरुआती रिपोर्ट सामने आई है, जो चौंकाने वाली है. बिना पायलट के. लोको पायलट चाय पीने के लिए नीचे आया था |
रेलवे से जुड़ी जानकारी साझा करने वाले यूट्यूब चैनल नॉलेज नोअर में किए गए दावे बेहद चौंकाने वाले हैं
उन्होंने बताया है कि यह पूरी घटना लोको पायलट और सहायक लोको पायलट की लापरवाही के कारण सामने आई है. कठुआ स्टेशन के पास लूप लाइन में बिना मैनुअल ब्रेक लगाए मालगाड़ी को सिग्नल नहीं मिलने पर लोको पायलट चाय पीने के लिए नीचे उतरा था। करीब आधे घंटे के बाद रेलवे के ब्रेक ने खुद को रिलीज कर दिया और नतीजा यह हुआ कि ट्रेन पीछे की ओर चलने लगी। इससे पहले कि लोको पायलट कोई कदम उठाता, ट्रेन की स्पीड बढ़ गई.इस मालगाड़ी में कुल 53 डिब्बे थे जिनपर गिट्टी लदी हुई थी। इसके दोनों छोर में इंजन लगे हुए थे।
नॉलेज नॉर के मुताबिक़ इस मामले में लोको पायलट, असिस्टेंट लोको पायलट, गार्ड और स्टेशन मास्टर समेत कुल 6 रेलवे कर्मचारियों को सस्पेंड कर दिया गया हैं। मामले की गहराई से जाँच करते हुए भविष्य में इस ना दोहरा जाये यह सुनिश्चित किया जा रहा हैं।
गौरतलब हैं कि इस मालगाड़ी को कठुआ से करीब 90 किलोमीटर दूर ऊँची बस्ती में रोक लिया गया था
यहाँ का रेलवे ट्रेक ऊंचाई पर हैं इसलिए ट्रेन का इंजन खुद ही धीमा हो गया। जिसके बाद मालगाड़ी के डिब्बों में मैनुअल ब्रेक लगाया गया। बताया गया कि ट्रेन से उतरने के बाद लोको पायलट को प्रोटोकॉल के मुताबिक़ मालगाड़ी के सामने के 6 और पीछे की 6 डिब्बों में मैनुअल ब्रेक लगाना होता है। लेकिन दोनों लोको पायलट ने इन नियमों की अनदेखी की थी नतीजनत एक बड़ा रेल हादसा होने से टल गया। दोनों को फिलाहल रेलवे ने निलंबित कर दिया हैं।