जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए स्वच्छ हवा में निवेश करे अंतरराष्ट्रीय समुदाय: गुटेरेस

संयुक्त राष्ट्र
संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए स्वच्छ हवा में निवेश करने का आग्रह किया है।समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने  यह जानकारी दी। संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा, “99 प्रतिशत मनुष्य प्रदूषित हवा में सांस लेते हैं, जिससे अनुमानित 80 लाख लोगों की अकाल मृत्यु हो जाती है। इसमें पांच साल से कम उम्र के सात लाख से अधिक बच्चे भी शामिल हैं।” गुटेरेस ने चेतावनी देते हुए कहा कि प्रदूषण अर्थव्यवस्थाओं को भी प्रभावित कर रहा है और ग्रह को गर्म कर रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदूषण महिलाओं, बच्चों और वृद्धों सहित समाज में सबसे कमजोर लोगों को प्रतिकूल रूप से प्रभावित करता है।

गुटेरेस ने कहा कि सरकारों और व्यवसायों दोनों को अपने कार्यों में से जीवाश्म ईंधन को चरणबद्ध तरीके से समाप्त करना, वायु गुणवत्ता निगरानी को मजबूत करना, वायु-गुणवत्ता मानकों को लागू करना, नवीकरणीय ऊर्जा को बढ़ावा देना, टिकाऊ परिवहन और टिकाऊ अपशिष्ट प्रबंधन प्रणाली का निर्माण, आपूर्ति श्रृंखलाओं को साफ करना और हानिकारक उत्सर्जन को कम करने पर और अधिक ध्यान देना चाहिए।
संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने विकास संगठनों, वित्तीय संस्थानों और परोपकारी संस्थाओं से त्रिग्रही संकट प्रदूषण, जलवायु संकट, जैव विविधता हानि से निपटने के लिए स्वच्छ वायु प्रौद्योगिकियों के पीछे वित्तीय पूंजी को पुनर्निर्देशित करने का भी आह्वान किया। गुटेरेस ने कहा, “हमें क्षेत्रीय और वैश्विक स्तर पर एक साथ काम करना होगा।”

गुटेरेस ने आतंकवाद पीड़ितों को श्रद्धांजलि दी

संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने आतंकवाद के पीड़ितों और इस तरह की घटनाओं में बचे लोगों को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि आतंकवाद के कृत्य ‘अकल्पनीय दुख की लहर’ पैदा करते हैं।

गुटेरेस ने 21 अगस्त को प्रतिवर्ष मनाए जाने वाले आतंकवाद के पीड़ितों की याद और श्रद्धांजलि के अंतरराष्ट्रीय दिवस के अवसर पर आयोजित एक वर्चुअल उच्च-स्तरीय कार्यक्रम में एक वीडियो संदेश में कहा, “आज हम आतंकवाद के पीड़ितों और इस तरह की घटनाओं में बचे लोगों को याद करते हैं और उनका सम्मान करते हैं।”

उन्होंने इस पर जोर देते हुए कि आतंकवाद के कृत्य 'अकल्पनीय दुख की लहर' पैदा करते हैं , कहा कि आतंकवादी कृत्यों से अलग हुए परिवार और समुदाय हमेशा के लिए बदल जाते हैं।

संयुक्त राष्ट्र प्रमुख ने कहा, 'दृश्य और अदृश्य दोनों तरह के घाव कभी पूरी तरह से ठीक नहीं होते हैं।' उन्होंने कहा कि पीड़ा और त्रासदी के बीच, ‘हमारी सामान्य मानवता के लचीलेपन और स्थायी शक्ति’ के कई उदाहरण सामने आये हैं।

गुटेरेस ने इस वर्ष की थीम 'शांति के लिए आवाज़ें: आतंकवाद के शिकार शांति के पैरोकार और शिक्षक के रूप में' पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि दूसरों को शिक्षित करने के लिए व्यक्तिगत आघात पर बात करना 'बहुत साहस का कार्य है।'उन्होंने आतंकवाद के सभी पीड़ितों और इससे बचे लोगों को श्रद्धांजलि दी जिनमें वे लोग भी शामिल हैं जिन्होंने दृढ़ता और क्षमा के बारे में अपनी कहानियाँ साझा करना चुना है।गुटेरेस ने कहा कि अंतरराष्ट्रीय दिवस लोगों से सुनने और सीखने का आग्रह करता है और यह याद दिलाता है कि 'हमें हमेशा आशा की रोशनी की तलाश करनी चाहिए।'

उल्लेखनीय है कि संयुक्त राष्ट्र महासभा ने दिसंबर 2017 में एक प्रस्ताव पारित किया जिसके तहत 21 अगस्त को आतंकवाद के पीड़ितों की याद और श्रद्धांजलि के अंतरराष्ट्रीय दिवस के रूप में नामित किया गया था, ताकि आतंकवाद के पीड़ितों और इससे बचे लोगों को सम्मान और समर्थन दिया जा सके।

 

 

India Edge News Desk

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