जापान व राजस्थान के रिश्ते और ऊंचाई पर जाएंगे, जापान की 11 कम्पनियों द्वारा किए गए एमओयू से 1338 करोड़ रूपये का निवेश आएगा

इंडिया एज न्यूज नेटवर्क

जयपुर : मुख्यमंत्री श्री अशोक गहलोत ने कहा कि राजस्थान में जापान की कम्पनियों ने प्रमुखता से निवेश किया और जापानी निवेश राजस्थान में उद्यमियों के लिये प्रेरणास्त्रोत रहा है। अब जापान की कम्पनियों को बाड़मेर में बन रहे पैट्रोकैमिकल कॉम्पलैक्स, इनवेस्ट राजस्थान और स्किल डवलपमेंट सेंटर के निर्माण में निवेश कर एक अध्याय और लिखना चाहिए। श्री गहलोत नीमराना स्थित डाईकिन जापानीज इंस्टीट्यूट ऑफ मैन्यूफेक्चरिंग एक्सिलेंस (डीजेआईएमई) में आयोजित एमओयू सेरेमनी को संबोधित कर रहे थे।

श्री गहलोत ने कहा कि जापानी जोन उद्यमियों में चर्चा का विषय रहता है। जापान की 11 कम्पनियों द्वारा किए गए एमओयू से 1338 करोड़ रूपये का निवेश आएगा और जापान व राजस्थान के रिश्ते और ऊंचाई पर जाएंगे। उन्होंने जापान की कम्पनियों से आह्वान किया कि वे पचपदरा में बन रही रिफाइनरी के पैट्रोकैमिकल कॉम्पलैक्स में भी निवेश करें। ग्रामीण क्षेत्रों के युवाओं को भी रोजगार देने के लिये स्किल डवलपमेंट सेंटर खोलें, इनमें जो भी अपेक्षित सहयोग होगा राज्य सरकार द्वारा दिया जायेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि भूतपूर्व प्रधानमंत्री डॉ. मनमोहन सिंह वर्ष 2005 में जापान यात्रा पर गए थे। इसी दौरान जापानी निवेश, दिल्ली मुम्बई इंडस्टि्रयल कॉरिडोर (डीएमआईसी) व फ्रंट कॉरिडोर की भूमिका तैयार हुई थी। नीमराना स्थित जापानीज जोन भी डीएमआईसी का पार्ट है। उन्होनें बताया कि डीएमआईसी राज्य में 6 स्थानों पर बनना है। राज्य सरकार की प्राथमिकता है कि सभी स्थानों पर योजनाबद्ध तरीके से काम हो और कॉरिडोर का निर्माण शीघ्र हो।

श्री गहलोत ने भारत और जापान के राजनयिक संबंधों को याद किया। उन्होंने बताया कि वर्ष 1949 में प्रथम प्रधानमंत्री श्री पंडित जवाहर लाल नेहरू ने टोक्यो के चिड़ियाघर को हाथी उपहार देकर नई दोस्ती की शुरूआत की थी। वर्ष 1952 में राजनयिक संंबंध की स्थापना के बाद भारत व जापान के मध्य लगातार मधुर संंबंध रहे।

वर्ष 2008 में 10 जापान की कंपनियां थी, अब 170 हो गई

भारत में जापान के राजदूत श्री सुजुकी सतोशी ने कहा कि भारत और जापान कानून का शासन व लोकतन्त्र जैसे मौलिक मूल्यों को साझा करते हैं। हमारा रिश्ता केवल द्विपक्षीय नहीं है अपितु असाधारण है। इसीलिए इसे स्पेशल स्टे्रटेजिक एंड ग्लोबल पार्टनरशिप कहते हैं। उन्होंने कहा कि गत मार्च में भारत और जापान के प्रधानमंत्रियों के बीच समिट में इस बात पर संतोष जताया गया कि वर्ष 2014 में घोषित किये गये 3.5 ट्रिलियन जापनीज येन (लगभग 2 लाख करोड़ रूपये) के निवेश का लक्ष्य प्राप्त कर चुके हैं। अब उन्होनें 5 ट्रिलियन जापनीज येन (लगभग 3 लाख करोड़ रूपये) को आगामी 5 वर्षों में जापान द्वारा भारत में निवेश करने का कार्य शुरू कर दिया है। गुरूवार को हुए एमओयू से लगभग 1300 करोड़ रूपये का निवेश होगा जो कि 22 बिलियन येन है। प्रदेश में वर्ष 2008 में जापान की कम्पनियों की संख्या 10 थी जो वर्ष 2021 में बढ़कर 170 हो गई है।

राज्य में निवेश के नए आयाम स्थापित

उद्योग मंत्री श्रीमती शकुन्तला रावत ने कहा कि मुख्यमंत्री की दूरदर्शिता से ही राज्य में निवेश के नये आयाम स्थापित हो रहे हैं। उद्योग विभाग ने हाल ही में प्रत्येक जिले में रोड़ शो का आयोजन किया, जिससे वहां के पारम्परिक उद्योगों को प्रोत्साहन मिलेगा। उन्होंने कहा कि 5 हजार से ज्यादा उद्यमी 7 एवं 8 अक्टूबर को प्रस्तावित इनवेस्ट राजस्थान समिट में भाग लेंगे। इससे प्रदेश में निवेश के नये अवसर खुलेगें।

गिलोठ इण्डस्टि्रयल पार्क में भी निवेश

जापानीज एक्सटर्नल ऑर्गेनाईजेशन (जेट्रो) के मुख्य महानिदेशक श्री यासुयुकि मुराहाशि ने कहा कि जापान की कम्पनियों द्वारा किए गए एमओयू सेे राजस्थान में लगभग 1300 करोड़ का निवेश होगा। उन्होंने बताया कि इनमें से 1 कम्पनी गिलोठ इण्डस्टि्रयल पार्क में निवेश करने जा रही है, जो कि किसी जापान की कम्पनी का उक्त क्षेत्र में पहला निवेश है। जेट्रो इस क्षेत्र में भी उतना ही निवेश करेगा जितना नीमराना औद्योगिक क्षेत्र में किया गया है। अतिरिक्त मुख्य सचिव, उद्योग श्रीमती वीनू गुप्ता व रीको के अध्यक्ष श्री कुलदीप रांका ने राज्य सरकार द्वारा जापान की कम्पनियों कोे दिये जा रहे सहयोग की जानकारी दी।

समारोह में सामाजिक अधिकारिता एवं न्याय मंत्री श्री टीकाराम जूली, गृह राज्य मंत्री श्री राजेन्द्र सिंह यादव, मेवात क्षेत्र विकास बोर्ड के चैयरमैन श्री जुबेर खान, बहरोड़ विधायक श्री बलजीत यादव, रीको के प्रबंध निदेशक श्री शिवप्रसाद नकाते, बीआईपी आयुक्त श्री ओम प्रकाश कसेरा तथा डाईकिन इण्डिया के अध्यक्ष एवं प्रबंध निदेशक श्री कंवलजीत जावा सहित जापान की कम्पनियों के अधिकारी व प्रतिनिधिगण उपस्थित थे।

1338 करोड रूपये के निवेश से मिलेगा 2272 लोगों को रोजगार

राज्य सरकार व जापान की 11 कम्पनियों के मध्य एमओयू पर हस्ताक्षर हुए हैं। इससे नीमराना, गिलोठ व चापारिया की ढ़ाणी (पाली) क्षेत्रों में 1338 करोड़ रूपये का निवेश होगा और 2272 लोगों को रोजगार मिलेगा। टोकाई रिका मिंडा इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (335 करोड़ रूपये), निडेक इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (300 करोड़ रूपये), हिताची एस्टेमो राजस्थान ब्रेक सिस्टम प्राइवेट लिमिटेड (140 करोड़ रूपये), फूजी सिल्वरटेक इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (110 करोड़ रूपये), सीकेडी इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (100 करोड़ रूपये), ताइयो इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (100 करोड़ रूपये), एलाइड जेबी फ्रिक्शन प्राइवेट लिमिटेड (78 करोड़ रूपये), एच2 मिल्क फार्म प्राइवेट लिमिटेड (65 करोड़ रूपये), एचएनवी कास्टिंग प्राइवेट लिमिटेड (40 करोड रूपये), एमआईईएसपी इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (40 करोड़ रूपये) एवं बेलटेक्नो इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (30 करोड़ रूपये) जापानी कम्पनियों ने निवेश के लिए एमओयू पर हस्ताक्षर किए हैं।

India Edge News Desk

Follow the latest breaking news and developments from Chhattisgarh , Madhya Pradesh , India and around the world with India Edge News newsdesk. From politics and policies to the economy and the environment, from local issues to national events and global affairs, we've got you covered.
Back to top button