यूपी में फेक फेसबुक अकाउंट पर कसेगा शिकंजा, सीएम योगी ने दिए सख्त निर्देश

लखनऊ 
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने वाराणसी में कानून-व्यवस्था और विकास कार्यों की समीक्षा के दौरान एक बार फिर स्पष्ट कर दिया कि सोशल मीडिया का दुरुपयोग करने वालों के खिलाफ अब और अधिक सख्ती बरती जाएगी. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स पर फर्जी नामों और फेक अकाउंट के जरिए समाज में जातीय मनमुटाव, धार्मिक उन्माद या अराजकता फैलाने की कोशिश करने वाले तत्वों पर पैनी नजर रखी जाए. उन्होंने कहा कि ऐसे व्यक्तियों को चिह्नित कर उनके खिलाफ तत्काल और कठोर कार्रवाई की जाए, ताकि कानून-व्यवस्था से खिलवाड़ करने वालों को कोई छूट न मिले.

निगरानी के लिए लोकल इंटेलिजेंस मजबूत करने पर जोर

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज के समय में सोशल मीडिया एक शक्तिशाली माध्यम बन चुका है, लेकिन कुछ लोग इसका इस्तेमाल समाज को तोड़ने, अफवाह फैलाने और माहौल को खराब बनाने के लिए कर रहे हैं. उन्होंने स्पष्ट रूप से कहा कि फेक आईडी बनाकर नफरत फैलाने वाले अब कानून से नहीं बच सकेंगे. सीएम ने लोकल इंटेलिजेंस यूनिट (LIU) और पुलिस की साइबर विंग को और अधिक सक्रिय एवं सुदृढ़ बनाए जाने का निर्देश दिया. उन्होंने कहा कि तकनीकी संसाधनों और स्थानीय इनपुट के आधार पर ऐसे तत्वों को पहले ही पहचान कर, उनके खिलाफ साक्ष्य आधारित कार्रवाई सुनिश्चित की जाए.

जातीय तनाव, धार्मिक उन्माद फैलाने वालों पर कठोर कार्रवाई

मुख्यमंत्री ने कहा कि कोई भी व्यक्ति जो जातीय तनाव, धार्मिक उन्माद या सामाजिक अस्थिरता फैलाने का प्रयास करता है, वह प्रदेश की एकता और विकास में बाधा है. ऐसे लोगों के साथ पूरी सख्ती से निपटा जाएगा. उन्होंने कहा कि कानून-व्यवस्था से खिलवाड़ करने वालों को पहचानकर, उन पर तत्काल प्रभावी और कानूनी कार्रवाई होनी चाहिए. मुख्यमंत्री ने पुलिस विभाग को यह भी निर्देश दिया कि वे सोशल मीडिया गतिविधियों की मॉनिटरिंग के लिए एक समर्पित टीम तैनात करें जो 24×7 इनपुट एकत्र कर जिला प्रशासन को उपलब्ध कराए.

सीमावर्ती जिलों में अवैध गतिविधियों पर सख्ती का आदेश

वाराणसी में हुई समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री ने सीमावर्ती जिलों में नशा, शराब और अन्य अवैध गतिविधियों को पूरी तरह खत्म करने का आदेश दिया. उन्होंने कहा कि अवैध शराब के ट्रांजिट रूट, गो-तस्करी और नशीले पदार्थों के व्यापार में लिप्त व्यक्तियों के विरुद्ध निरंतर अभियान चलाया जाए. मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से कहा कि इन माफियाओं के नेटवर्क को जड़ से खत्म किया जाए. न सिर्फ गिरफ्तारी, बल्कि इनकी संपत्ति को जब्त कर कानूनी कार्रवाई भी की जाए, ताकि इनकी आर्थिक कमर तोड़ी जा सके.

विकास कार्यों को गति देने के निर्देश, सड़क चौड़ीकरण पर विशेष जोर

मुख्यमंत्री ने विकास कार्यों की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को निर्देशित किया कि सभी गतिमान परियोजनाओं को युद्धस्तर पर पूर्ण कराया जाए. उन्होंने खासतौर पर सड़क चौड़ीकरण से संबंधित कार्यों पर फोकस करते हुए कहा कि जहां धार्मिक स्थल कार्य में बाधा बनते हैं, वहां स्थानीय लोगों से संवाद स्थापित कर, उपयुक्त वैकल्पिक स्थल विधि-विधान के साथ चिन्हित किए जाएं और स्थानांतरित किया जाए. सीएम ने कहा कि कार्यदायी संस्थाएं निर्धारित समयसीमा में कार्य पूरा करें, अन्यथा उन पर कार्रवाई तय होगी.

स्वच्छता, शिक्षा, स्वास्थ्य और ऊर्जा पर विशेष निर्देश

वाराणसी को स्वच्छता में देश के अग्रणी शहरों में लाने की मंशा दोहराते हुए मुख्यमंत्री ने नगर निगम अधिकारियों को निर्देश दिया कि शहर में नियमित स्वच्छता अभियान चलाया जाए. उन्होंने कहा, वाराणसी जैसे आध्यात्मिक और सांस्कृतिक शहर की पहचान स्वच्छता के स्तर से भी होनी चाहिए. इसे टॉप-5 स्वच्छ शहरों में लाना हमारी प्राथमिकता है.

बच्चों के लिए भी दिए आदेश 

शिक्षा के क्षेत्र में मुख्यमंत्री ने बेसिक शिक्षा अधिकारी को निर्देश दिया कि परिषदीय विद्यालयों में शत-प्रतिशत नामांकन सुनिश्चित किया जाए. उन्होंने कहा कि कोई भी विद्यालय अध्यापक विहीन न रहे, और सभी बच्चों को बैग, जूते-मोजे व ड्रेस समय से उपलब्ध कराई जाए. टीबी उन्मूलन के प्रयासों को लेकर भी मुख्यमंत्री गंभीर दिखे. उन्होंने मुख्य चिकित्साधिकारी को निर्देश दिया कि वाराणसी को नवंबर 2025 तक पूरी तरह टीबी मुक्त घोषित किया जाना चाहिए. इसके लिए व्यापक जन-जागरूकता, जनप्रतिनिधियों का सहयोग और सामुदायिक भागीदारी सुनिश्चित की जाए. मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिया कि विद्युत विभाग जनपद में निर्बाध विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित करे, ताकि किसी भी क्षेत्र में अनावश्यक कटौती न .

आईजीआरएस और जनसुनवाई व्यवस्था को और प्रभावी बनाने का निर्देश

सीएम योगी ने जनसुनवाई पोर्टल, आईजीआरएस और सीएम हेल्पलाइन जैसी व्यवस्थाओं पर भी विशेष ध्यान देने को कहा. उन्होंने कहा कि इन माध्यमों से प्राप्त होने वाली जनशिकायतों का निष्पक्ष, समयबद्ध और संतोषजनक निस्तारण प्रशासन की प्राथमिक जिम्मेदारी है. शिकायतकर्ता को यह अनुभव होना चाहिए कि शासन-प्रशासन उसकी आवाज सुन रहा है और उसका समाधान कर रहा है.

64 बड़ी परियोजनाएं प्रगति पर, 15000 करोड़ का निवेश

बैठक की शुरुआत में जिलाधिकारी सत्येन्द्र कुमार ने प्रेजेंटेशन के जरिए जनपद की 64 बड़ी परियोजनाओं की जानकारी दी, जिनकी कुल लागत लगभग ₹15,000 करोड़ है. उन्होंने बताया कि कज्जाकपुरा फ्लाईओवर का कार्य सितंबर 2025 तक पूरा कर लिया जाएगा. पुलिस कमिश्नर मोहित अग्रवाल ने मुख्यमंत्री को श्रावण मास, यातायात प्रबंधन और सुरक्षा व्यवस्थाओं की जानकारी दी. वहीं, एडीजी ज़ोन पीयूष मोर्डिया ने जोन के अन्य जनपदों में चल रहे गो-तस्करी और शराब माफिया के खिलाफ अभियानों की जानकारी दी.

India Edge News Desk

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